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बुध ग्रह के आकार में हो रहा है बदलाव : स्‍टडी

Mercury is shrinking : हमारे सौर मंडल में सूर्य का सबसे नजदीकी ग्रह है बुध (Mercury) आपको आश्चर्य होगी जानकर कि बुध ग्रह के आकार में परिवर्तन हो रहा है बुध ग्रह सिकुड़ रहा है, उसकी सतह पर झुर्रियों जैसे निशान इसकी गवाही दे रहे हैं एक नयी स्‍टडी में यह बोला गया है वैज्ञानिकों का मानना है कि बुध ग्रह की त्रिज्‍या (radius) करीब 7 किलोमीटर तक कम हो गई है सूर्य के सबसे निकट होने के बावजूद बुध ग्रह का आंतरिक भाग ठंडा होता जा रहा है और जिस चट्टान से इसका निर्माण हुआ है, उसका वॉल्‍यूम कम हो रहा है

नेचर जियोसाइंस में यह स्‍टडी पब्लिश हुई है स्‍टडी के लेखक और UK की ओपन यूनिवर्सिटी (ओयू) के रिसर्च स्‍टूडेंट बेंजामिन मैन ने अमेरिकी स्‍पेस एजेंसी नासा (Nasa) के मैसेंजर मिशन (2011-2015) के डेटा का प्रयोग करके बुध ग्रह को स्‍टडी किया उन्‍होंने ग्रह पर नयी भू-आकृतियों का पता लगाया, जिन्हें ग्रैबेंस बोला जाता है

बेंजामिन ने बोला कि इतने सारे ग्रैबेंस की हमारी जरूरी है यह इशारा देती है कि बुध का टेक्टोनिज्‍म हाल फ‍िलहाल सक्रिय हुआ है और इसका असर पूरे ग्रह पर है पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, बुध ग्रह के सिकुड़ने का पहला सबूत वर्ष 1974 में सामने आया जब ‘मेरिनर 10′ मिशन ने सैकड़ों किलोमीटर तक अपना रास्ता बना चुकी कई किलोमीटर ऊंची स्कार्पियों (रैंप जैसी ढलानों) की फोटोज़ दिखाईं

फ‍िर नासा के मैसेंजर मिशन ने 2011 से 2015 के बीच बुध की परिक्रमा की इससे बुध ग्रह के सभी हिस्‍सों में स्कार्पियों का पता चला स्‍टडी में संभावना व्यक्त किया गया है कि बुध की त्रिज्या में लगभग 7 किमी की कुल कमी हुई है हालांकि वैज्ञानिक यह नहीं जान पाए हैं कि ऐसा कब हुआ

एक राय यह है कि बुध ग्रह पर रैंप जैसी ढलान लगभग 3 अरब वर्ष पुरानी हैं लेकिन क्‍या सभी ढलानें इतनी ही पुरानी हैं क्‍या वो आज भी सक्रिय हैं? ई स्‍टडी में वैज्ञानिकों को इस बात के सबूत मिले हैं कि कई ढलानों ने हाल के दिनों में भी आगे बढ़ना जारी रखा है, भले ही उनकी आरंभ अरबों वर्ष पहले हुई तो इसका मतलब यह है कि बुध ग्रह अभी भी सिकुड़ रहा है

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