अध्यक्ष नवाज शरीफ चार साल के आत्म-निर्वासन के बाद हुए लंदन से वापस
Pakistan Political Development Survey: पाक के पूर्व पीएम और पाक मुसलमान लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के अध्यक्ष नवाज शरीफ चार वर्ष के आत्म-निर्वासन के बाद लंदन से वापस लौट आए हैं। हालांकि, 73 वर्षीय शरीफ ने बोला है कि उनकी कोई राजनीतिक ख्वाहिश नहीं है लेकिन उनकी वतन वापसी से पाक में राजनीतिक बयार बदलने लगी है। गैलप पाक द्वारा किए गए एक स्नैप पोल सर्वे में बोला गया है कि शरीफ के पाक आने से उनकी पार्टी का सियासी भविष्य मजबूत हुआ है।
पाकिस्तान के प्रसिद्ध अखबार ‘द न्यूज’ ने सोमवार को कहा कि गैलप पाक ने नवाज शरीफ के पाक लौटकर दिए गए मीनार-ए-पाकिस्तान स्पीच के अगले ही दिन यानी 22 अक्टूबर को एक टेलीफोन सर्वे किया है। इस सर्वेक्षण में चार प्रांतों के लगभग 100 जिलों के 1000 मर्दों और स्त्रियों के वैज्ञानिक रूप से चयनित नमूने का इस्तेमाल किया गया है। इस सर्वेक्षण में आठ प्रमुख निष्कर्ष शामिल थे: सबसे पहले, राष्ट्र के 75% वयस्कों ने बोला कि उन्होंने नवाज शरीफ की पाक वापसी के बारे में सुना या पढ़ा है।
दूसरे, लगभग तीन में से एक यानी एक तिहाई युवाओं ने बोला कि उन्होंने मीनार-ए-पाकिस्तान में नवाज शरीफ का भाषण सुना है। इससे पता चलता है कि लगभग 4 करोड़ पाकिस्तानियों ने नवाज शरीफ का भाषण सुना है। तीसरा, भाषण सुनने वालों में 80% लोगों को नवाज का भाषण पसंद आया, जबकि 12% ने बोला कि उन्हें भाषण पसंद नहीं आया और सिर्फ़ 7% लोगों ने मिक्स्ड रिएक्शन दिए हैं।
सर्वे में चौथे निष्कर्ष में बोला गया है कि 50% लोगों ने बोला कि नवाज की पाक वापसी राष्ट्र और देशवासियों के लिए अच्छा होगा, जबकि 14% ने बोला कि यह पाक के लिए बुरा संकेत होगा। 18% लोगों ने इस प्रश्न पर उदासीनता दिखाई और बोला कि उनकी वापसी से आम आदमी के जीवन पर कोई असर नहीं पड़ेगा। 18 ने इस पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया।
सर्वे के पांचवें की फैक्टर में बोला गया है कि 51% लोगों का मानना है कि नवाज शरीफ की पाक वापसी से पीएमएल-एन को अगला चुनाव जीतने में सहायता मिलेगी, जबकि 22% ने बोला कि इस पर टिप्पणी करना जल्दबाजी होगी। इसके अलावा, 26% का मानना है कि इससे पीएमएल-एन को हानि होगा या इससे कोई फर्क नहीं पड़ेगा।
सर्वे में 70 फीसदी लोगों ने सहमति जताई कि नवाज शरीफ को राष्ट्र को आगे ले जाने के लिए इमरान खान सहित सभी सियासी नेताओं के साथ मिलकर काम करना चाहिए और पीटीआई प्रमुख के साथ विवाद से बचना चाहिए। इसके अलावा, लगभग 10 में से चार उत्तरदाताओं का मानना था कि नवाज शरीफ की पाक वापसी एक निश्चित समझौते का हिस्सा है। 34 फीसदी लोगों का मानना था कि उन्हें नहीं पता कि कोई डील हुई है या नहीं, जबकि 27 फीसदी इस बात से असहमत थे कि उनका राष्ट्र लौटना किसी तरह की डील का हिस्सा है।
अंत में, जब पूछा गया कि किस नेता में राष्ट्र को मौजूदा आर्थिक संकट से बाहर निकालने की क्षमता है, तो 30 प्रतिशत लोगों ने नवाज शरीफ का नाम लिया, जबकि 22 प्रतिशत का मानना था कि इमरान खान के पास राष्ट्र को मौजूदा संकट से बाहर निकालने की क्षमता है। इस मुद्दे में पीपीपी अध्यक्ष बिलावल भुट्टो तीसरे नंबर पर रहे। यहां ध्यान देने वाली बात है कि 30 प्रतिशत लोगों ने स्पष्ट रूप से बोला कि पाक के किसी भी नेता के पास राष्ट्र को मौजूदा आर्थिक संकट से बाहर निकालने की क्षमता नहीं है।