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उत्तर प्रदेश में पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड अपने क्षेत्र के 20 जिलों में लगाएगा नए स्मार्ट प्रीपेड मीटर

UPPCL: यूपी में पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड अपने क्षेत्र के 20 जिलों में 15 नवंबर से नए स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाएगा मुख्य अभियंता (रिवेंम्प्ड योजना के प्रभारी) चंद्रजीत कुमार के अनुसार मीटर लगाने का काम 27 महीने में पूरा होगा उन्होंने कहा कि जर्मन तकनीक पर आधारित 50.17 लाख प्रीपेड मीटर मंगाए जा रहे हैं इस पर 5,131 करोड़ रुपये खर्च होंगे पूर्वांचल डिस्कॉम की तरफ से प्रीपेड स्मार्ट मीटर लगाने की प्रक्रिया प्रारम्भ कर दी गई है इससे कंज़्यूमरों को भुगतान में सरलता होगी

मोबाइल एप के जरिये कर सकेंगे कंट्रोल

नए प्रीपेड मीटर को उपभोक्ता बिजली निगम के एप के जरिये कंट्रोल कर सकते हैं निगम के ऑफिसरों के अनुसार उपभोक्ता जब घर में रहेंगे, तब इसे ऑन रख सकेंगे घर से बाहर जाने पर इसे बंद करना होगा इसकी सहायता से उपकरणों की नज़र की जा सकेगी फॉल्ट होने पर दूसरे जगह से ही मीटर से बिजली आपूर्ति को ऑन या फिर ऑफ किया जा सकेगा बिजली खपत की नज़र भी की जा सकेगी

45 प्रतिशत उपभोक्ता ही देते हैं बिल

बिजली निगम के अनुसार अभी 45 प्रतिशत उपभोक्ता ही बिल का भुगतान करते हैं स्मार्ट मीटर लगने से कंज़्यूमरों की बकायेदारी नहीं होगी जितने रुपये का प्रीपेड मीटर रिचार्ज होगा, उतनी ही बिजली इस्तेमाल की जा सकेगी

स्मार्ट मीटरों की कीमतों को घटाने की प्रयास हो चुकी है फेल

बता दें कि उत्तर प्रदेश में विभिन्न बिजली कंपनियों के क्षेत्रों में लगने वाले स्मार्ट प्रीपेड मीटर की मूल्य घटाने के लिए छोटे क्लस्टर्स में बांट कर निविदा जारी करने की कवायद का भी अपेक्षित नतीजा नहीं निकल पाया है दक्षिणांचल और पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम ने कंज़्यूमरों के घरों पर प्रीपेड स्मार्ट मीटर लगाने के लिए प्रतिस्पर्धी निविदा क्लस्टर्स में बांट कर जारी की थी निविदाओं में खुली कीमतों में भी स्मार्ट प्रीपेड मीटर के मूल्य कम नहीं हो सके हैं रोचक बात यह है कि निविदा में कुल कीमतें पहले पूरे अंचल के लिए जारी निविदा के दर से कहीं भी कम नहीं हो सकी है

दो या उससे भी अधिक क्लस्टरों में बांट कर उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन लिमिटेड (UPPCL) ने दो विद्युत वितरण निगमों के लिए निविदाएं जारी की थी इससे पहले इन दोनों निगमों सहित मध्यांचल विद्युत वितरण निगम के लिए मूल्य अधिक आने का तर्क देकर पूर्व में जारी निविदा को खारिज किया गया था मध्यांचल के लिए फिर से जारी की गयी निविदा में जहां कंपनियां भाग लेने ही नहीं आयीं वहीं पूर्वांचल और दक्षिणांचल में क्लस्टर्स में बांट कर निविदा जारी किया गया था

निविदा में दक्षिणांचल विद्युत वितरण निगम के क्लस्टर -2 में जहां कानपुर, झांसी और बांदा आदि रखे गए वहां 37 लाख स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाने के लिए 10097 रुपये की मूल्य आयी है जो कि पश्चिमांचल विद्युत वितरण निगम के बराबर ही है जहां निविदा प्रक्रिया पूरी हो चुकी है पश्चिमांचल में 67 लाख स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगने हैं दक्षिणांचल में सिंगल फेज मीटर लगाने के लिए मूल्य 8880 रुपये आई है जो कि सिंगल फेज के लिए पश्चिमांचल में खुली मूल्य से कहीं अधिक है

इसी तरह पूर्वांचल में 27 लाख प्रीपेड स्मार्ट मीटर के एक क्लस्टर के लिए हाल में खुली निविदा में दरें 10752 रुपये आयी थी जो कि पश्चिमांचल से काफी अधिक है इसके अतिरिक्त एक ही कंपनी की ओर से पूर्वांचल में एक जैसी मात्रा में स्मार्ट मीटर लगाने के लिए निविदा में जो दरें दी गयी है वो खासी अलग हैं

गौरतलब है कि स्मार्ट मीटर की निविदाओं को क्लस्टर्स में बांटने के बाद भी भाग लेने वाली कंपनियों की तादाद नहीं बढ़ी है जहां बड़ी निविदाओं में अधिक कंपनियों की भागीदारी दिखी थी वहीं छोटे क्लस्टर्स में यह और भी घट गयी है दक्षिणांचल के एक क्लस्टर में तो निविदा में सिर्फ़ दो ही कंपनियों ने भाग लिया है

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