आतंकवादियों द्वारा सेना के दो वाहनों पर किए गए हमले में 5 जवान हुए शहीद, परिवार में पसरा मातम
जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में गुरुवार को हथियारों से लैस आतंकियों द्वारा सेना के दो वाहनों पर घात लगाकर किए गए हमले में 5 सैनिक शहीद हो गए और दो अन्य घायल हो गए। ऑफिसरों ने यह जानकारी दी। पाक स्थित लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) की शाखा पीपुल्स एंटी-फासिस्ट फ्रंट (पीएएफएफ) ने घात लगाकर किए गए इस हमले की जिम्मेदारी ली है। शहीदों के पार्थिव शरीर उनके परिवार के पास रवाना कर दिए गए हैं। शहीद जवानों के परिवार में मातम पसरा है।
गौतम कुमार
जम्मू कश्मीर के राजौरी-पुंछ क्षेत्र में आतंकवादी हमले में मारे गए सैनिकों में उत्तराखंड का भी एक सैनिक शामिल है। पौड़ी जिले के कोटद्वार का रहने वाला राइफलमैन गौतम कुमार अन्य जवानों के साथ गुरुवार दोपहर को गश्त पर निकला था और उसी दौरान आतंकियों ने काफिले पर धावा कर दिया था ।
कोटद्वार के शिवपुर क्षेत्र में स्थित उनके घर में उनकी मौत की दुखद सूचना गुरुवार आधी रात के बाद आई जिसके बाद से परिवार के सदस्य रो-रोकर बेहाल हैं ।
गौतम के बड़े भाई राहुल कुमार ने कहा कि गौतम पिछले शनिवार को ही कोटद्वार से बीच छुट्टी में ही ड्यूटी पर लौट गये थे और अगले वर्ष 11 मार्च को उनकी विवाह होनी थी। उन्होंने कहा कि उनके घर में उनकी विवाह की तैयारियां चल रही थीं।
वर्ष 2014 में सेना में भर्ती हुए गौतम इन दिनों 89 आर्म्ड रेजीमेंट में अपनी सेवाएं दे रहे थे। राहुल ने कहा कि दो वर्ष पूर्व हुई पिता की मृत्यु का गम अभी हल्का भी नहीं हुआ था कि अब गौतम के जाने से पूरा परिवार टूट गया है। शहीद का पार्थिव शरीर शनिवार को कोटद्वार पहुंचने की आसार है।
करण सिंह यादव
शहीदों में वे कानपुर शहर के चौबेपुर के भाऊपुर गांव के रहने वाले करण सिंह यादव भी शामिल थे। यादव अंतिम बार अगस्त में अपने घर आए थे और फरवरी में फिर से आने का कहकर गए थे। करण सिंह के घर में उसके माता-पिता के अतिरिक्त एक भाई और दो बहने हैं। करण की दो कम उम्र की बेटियां हैं। गांव के लोगों के अनुसार करण सिंह छुट्टी पर जब भी गांव आते थे तो गांव वालों को बड़ा प्यार और सम्मान देते थे। उनकी मृत्यु की समाचार जैसे ही गांव पुहुंची पूरे गांव में मातम पसर गया।
चंदन कुमार
बिहार के नवादा जिले के राइफलमैन चंदन कुमार भी आतंकवादी हमले में शहीद हुए। वह के वारिसलीगंज प्रखंड स्थित नारोमुरार गांव के रहने वाले थे। चंदन के घर में माता-पिता के अतिरिक्त तीन भाई हैं। एक भाई चंदन से बड़ा और एक छोटा है। चंदन अपने परिवार के मंझले भाई थे। वह 2017 में सेना में शामिल हुए थे, उनकी विवाह 18 महीने पहले बिहार कि लखीसराय में हुई थी। चंदन बहुत गरीब परिवार से थे। चंदन के शहीद होने की सूचना मिलने के बाद से परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल है।