कश्मीर के लाल चौक पर दिखी कान्हा की मनमोहक झांकी
देश भर में जन्माष्टमी की धूम है। इसी कड़ी में कश्मीर में भी कृष्ण जनमाष्टमी का पर्व मनाया जा रहा है। श्रीनगर की सड़कों पर धूमसे चलती दिखी शोभा यात्रा लोगों का मन मोह रही है। कश्मीरी पंडित समुदाय और अन्य लोगों ने ईश्वर कृष्ण की जन्म दिन मनाया। हब्बा कदल में स्थित कत्लेश्वर मंदिर से निकली शोभा यात्रा मशहूर लाल चौक से गुज़रते हुए घंटाघर पहुंची और वहां संपन्न हुई। इस यात्रा में ईश्वर कृष्ण की फूलों से सजी झांकी निकाली गई। रास्ते पर मुसलमान और अन्य धर्म के लोगों ने शोभा यात्रा पर फूल बरसाए और शुभकामना दी।
दरअसल, इस शोभा यात्रा के आयोजक अभिमन्यु दास ने कहा कि यह झांकी वर्षों से निकल रही है यह हमारा जरूरी त्योहार है। सुबह से ही पूजा अर्चना हो रही है। यहां के ही नहीं बल्कि बाहर से भी लोग आए हैं, सभी नाच गा रहे हैं। हमारे यहां क्षेत्रीय लोगों का साथ रहा जो भाईचारा यहां पर है वो बना रहे हमारी दुआ हैं बना रहे।
बधाई देने पहुंचे किशन सिंह बेदी ने बोला कि हम सभी लोग मिल जुल कर इसको मनाते हैं। हम सब इसको मिलकर मनाते हैं ये कश्मीरियत है। इस यात्रा में स्त्रियों ने भी बढ़ चढ़ कर भाग लिया और भगवन के भक्ति संगीत पर नृत्य भी किया, हाथों में ढोलक और घंटियां लिए ईश्वर कृष्ण के भक्तों ने भजन गाकर इस शोभा यात्रा की शोभा बढ़ाई।
जम्मू से आईं एक भक्त बोला कि बहुत अच्छा फील हो रहा हैं। हमें पता चला कि यहां झांकी निकल रही है। हम पहले मंदिर गए और अब झांकी में आए हैं, बहुत ही अच्छा लग रहा है। यहां सभी मिलकर यह त्योहार मनाया गया। बता दें कि ऐसी यात्रा कश्मीर में कईं वर्षों के बाद देखने को मिली है जिसमें क्षेत्रीय कश्मीरी समुदाय के लोगोंने भी बढ़ चढ़ के भाग लिया है।
यह यात्रा श्रीनगर के हब्बा कदल में स्थित कत्लेश्वर मंदिर से निकाली गई और श्रीनगर शहर के सभी मुख स्थानों से होते हुए यह यात्रा लाल चौक पहुंची है। कश्मीर घाटी में 90 के दशक से शोभा यात्रा नहीं निकाली जाती थी लेकिन फिर 2004 में फिर से शोभा यात्रा प्रारम्भ की गयी थी और इस बार भी कड़े सुरक्षा इंतजामों के बीच यात्रा संपन्न हुई है।