जब कोेरोना वैक्सीन हो गया है तैयार, तो फिर...

नई दिल्ली: चीन के वुहान शहर से निकला कोरोना वायरस का कहर अभी भी पूरी दुनिया में जारी है। इस महामारी को खत्म करने के लिए वैक्सीन बनाने पर काम चल रहा है। वैक्सीन पर काम कर रहे शोध संस्थानों ने अपने दवा को 90 प्रतिशत तक प्रभावी होने की बात कही है। लेकिन वैक्सीन के इतने करीब पहुंचने के बाद भी शोधकर्ताओं को वैक्सीन को लेकर एक नई चिन्ता सता रही है। शोधकर्ताओं का मानना है कि यह वैक्सीन मानव शरीर में कितने दिनों तक काम करेंगी, इस पर कुछ कहा नहीं जा सकता है।
कोरोना वैक्सीन के टाइस पीरियड को लेकर शोधकर्ताओं को संशय
वैक्सीन को लेकर शोध कर रहे बड़े-बड़े शोधकर्ताओं ने अपने वैक्सीन को 90 फीसदी तक कारगर होने का दावा किया है। लेकिन इस दावें के पीछे शोधकर्ताओं को एक नई चिंता सता रही है कि कोरोना के खिलाफ बनाई गई वैक्सीन मानव शरीर में कितने समय तक काम करती रहेंगी, इस पर कुछ कहा नहीं जा सकता है। कोरोना के खिलाफ बनाई गई शोधकर्ताओं की वैक्सीन मानव शरीर के इम्यूनिटी पावर को स्ट्रॉग बनाएगी, लेकिन यह वैक्सीन व्यक्ति के शरीर में कितने लम्बे समय के लिए कारगर होगी, इस पर किसी शोधकर्ताओं ने दावा नहीं किया है।
अमेरिका में प्रमुख शोधकर्ता डॉ. एंथनी फाउची ने कहा कि पहले सर्दी-जुकाम फैलाने वाले कोरोना वायरस पर जो टीके लगते थे, वह टीका मानव शरीर के इम्युनिटी पावर को छह महीने से लगभग एक साल तक कारगर रहती है। लेकिन कोरोना वैक्सीन के टाइस पीरियड को लेकर शोधकर्ताओं चिंतित है।