सहजन की सब्जी जाने किन बीमारियों के लिये है रामबाण
पलामू। सहजन (मुनगा) यह सब्जी गुणों का भंडार है। आयुर्वेद का दावा है कि केवल सहजन ही नहीं, बल्कि पेड़ की पत्तियां, फूल, छाल सभी अंग स्वास्थ्य के लिए लाभदायक हैं। इससे औषधि भी तैयार की जाती हैं। मेडिकल के क्षेत्र में इसे मोरिंगा भी कहते हैं। इसके फल को अंग्रेजी में ड्रमस्टिक बोला जाता है। मगर, क्या आप जानते हैं ये स्वास्थ्य के लिए कितना लाभदायक है। कौन-कौन सी रोंगों में ये रामबाण है। यहां जानिए…
300 से अधिक रोंगों का दुश्मन
मुनगा गर्मी के दिनों में खूब फलता है। इसकी सब्जी बनती है। छत्तीसगढ़ में इसकी लोकप्रियता बहुत अधिक है। आयुर्वेद डॉक्टर पुरुषार्थी पवन आर्य ने Local 18 को कहा कि इसके फल, पत्तियां, छाल और जड़ सभी गुणों का भंडार हैं। ये 300 से अधिक रोंगों के उपचार में काम आता है। सहजन में दूध की तुलना में चार गुना अधिक कैल्शियम और दोगुना प्रोटीन मिलता है। इसके रस का सेवन सुबह-शाम करने से उक्त रक्तचाप में राहत मिलती है। पत्तियों का रस पीने से मोटापा कंट्रोल होता है। छाल का काढ़ा पीने और कुल्ला करने से दांतों के बीमारी दूर होते हैं। पाचन तंत्र भी मजबूत होता है। इसमें कार्बोहाइड्रेट, मैग्नीशियम, कैल्शियम प्रचुर मात्रा में पाया जाता है। हड्डी भी मजबूत होती है। इसके सेवन से शुगर कंट्रोल होता है। ये एंजाइटी और डिप्रेशन को भी ठीक करता है।
ऐसे करें सेवन
आयुर्वेद डॉक्टर ने Local 18 को कहा कि मुनगा के पत्तों का काढ़ा बनाकर सुबह-शाम पीने से पेट की परेशानी से राहत मिलती है। गर्मी के दिनों में इसकी सब्जी बनाकर लोग सेवन करते हैं, तो स्वास्थ्य के लिए लाभदायक होता है। इसके फूल को लोग पकौड़े बनाकर खाते हैं। साथ ही पत्तियों की भुजिया भी बनाई जाती है। पत्ते को उबालकर भी पी सकते हैं।