कैंसर और हार्ट डिसीज के रिस्क को कम करता है जौ
हेल्थ न्यूज़ डेस्क,गर्मियों में बाहर के तापमान बढ़ने के साथ ही शरीर के अंदर का तापमान भी बढ़ने लगता है. ऐसे में वो फूड्स जो शरीर को ठंडक पहुंचाएं, उसे खाना लाभ वाला है. जौ इसी लिस्ट में शामिल है, जिसे गर्मी के मौसम में खासतौर पर खाना चाहिए. सिर्फ़ शरीर को ठंडक ही नहीं बल्कि जौ खाने के और भी बहुत सारे लाभ हैं. वेट लॉस से लेकर हार्ट को हेल्दी रखना है और डाइजेशन दुरुस्त तो जौ को आज से ही डाइट में खाना प्रारम्भ कर दें.
न्यूट्रिशन से भरपूर जौ
जौ को यदि साबुत ही इस्तेमाल किया जाए खाने के लिए तो इसमे फाइबर का सोर्स अधिक होता है। साथ ही मैंगनीज और सेलेनियम, विटामिन बी1, क्रोमियम, फास्फोरस, मैग्नीशियम और नियासिन की मात्रा होती है. इसके साथ ही जौ में एंटीऑक्सीडेंट्स भरपूर होता है. जो कैंसर और हार्ट डिसीज के रिस्क को कम करता है.
भूख को कम करता है और वेट लॉस मदद
जौ को यदि खाया जाए तो इससे पेट भरने का एहसास अधिक होता है. जिससे भूख कम लगती है और इसका सीधा कनेक्शन वेट लॉस से जुड़ा हुआ है. जौ में सॉल्यूएबल फाइबर बीटा ग्लूकेन होता है. जो आंतों में जाकर कारावास फॉर्म में बदल जाता है. जो कि डाइजेशन को स्लो कर देता है और साथ ही महत्वपूर्ण न्यूट्रिशन को अब्जॉर्ब करता है. जिससे भूख कम लगती है और पेट भरने का एहसास अधिक होता है.
डाइजेशन में मदद
जौ का हाई फाइबर कंटेट डाइजेशन को स्मूद बना देता है और कब्ज की कम्पलेन नहीं रह जाती. इसके साथ ही जौ में गट फ्रैंडली बैक्टीरिया भी पाए जाते हैं.
कोलेस्ट्रॉल कम करता है
जौ में उपस्थित बीटा ग्लूकेन्स बैड कोलेस्ट्रॉल को बाइल एसिड में रोकता है. जिससे बैड कोलेस्ट्रॉल बढ़ने नहीं पाता और ये बाइल एसिड लिवर के जरिए स्टूल के जरिए बाहर निकाल देता है.
हार्ट रिस्क को कम करता है
साबुत अनाज हार्ट हेल्थ के लिए अच्छे होते हैं. प्रतिदिन जौ को यदि डाइट में खाया जाए तो इससे हार्ट डिसीज का खतरा कम होता है. इसका कारण है जौ बैड कोलेस्ट्रॉल को कम करता है साथ ही ब्लड प्रेशर को भी नॉर्मल रखने में सहायता करता है.
डायबिटीज वालों के लिए जौ है फायदेमंद
टाइप 2 डायबिटीज के लिए जौ लाभ वाला है. क्योंकि ये ब्लड शुगर लेवल को लो करता है और इंसुलिन को बढ़ाता है. जौ में मैग्नीशियम की मात्रा होती है जो इंसुलन प्रोडक्शन और शरीर में चीनी के इस्तेमाल के लिए महत्वपूर्ण होती है.
कोलन कैंसर से बचाव
जौ में उपस्थित फाइबर की वजह से खराब डाइजेशन और कब्ज की वजह से होने वाले कोलन कैंसर से बचाव करता है.
शरीर में जलन रोके
जौ को आयुर्वेद में ठंडा अनाज कहा गया है. जिसे खाने से कफ और पित्त शांत होता है. जो गर्मियों में शरीर में होने वाली जलन के लिए जौ के सत्तू को पीना लाभ वाला होता है.
जौ खाने के हैं कई तरीके
जौ को डाइट में कई उपायों से शामिल कर सकते हैं.
-जौ के आटे को रोटी बनाने में इस्तेमाल किया जा सकता है. साथ ही साबुत जौ का पानी पीना लाभ वाला होता है.
-वहीं जौ को भूनकर तैयार सत्तू भी काफी हेल्दी होता है. जिसे आप ना सिर्फ़ ड्रिंक बनाकर पी सकते हैं बल्कि सूप की तरह भी लिया जा सकता है.