इजरायल ने ईरान के इस्फहान शहर पर किया हमला
ईरान ने 13 अप्रैल को इजरायल पर धावा किया था और 19 अप्रैल को इजरायल ने जवाबी कार्रवाई करते हुए ईरान पर मिसाइल दाग दिए हैं। हालांकि ईरान ने यह दावा कर रहा है कि उसने इजरायली मिसाइलों को बेकार कर दिया। लेकिन अमेरिकी ऑफिसरों के हवाले से मीडिया में जो खबरें आई हैं, उनके मुताबिक ईरान के इस्फहान शहर के सेना हवाई अड्डे के पास विस्फोट की आवाजें सुनाई दी है। ईरान के परमाणु संयंत्रों पर हमले की अभी की तक कोई सूचना नहीं है।
संयुक्त देश ने बनाया इजरायल पर दबाव
गौरतलब है कि सीरिया के दमिश्क शहर में स्थित ईरान के दूतावास पर हमले के उत्तर में ईरान ने इजरायल पर आधी रात को मिसाइलें बरसाई थीं, जिसके बाद अमेरिका और संयुक्त देश ने इजरायल से जवाबी कार्रवाई नहीं करने को बोला था, क्योंकि संयुक्त देश संघ का बोलना है कि विश्व तीसरे विश्व युद्ध को नहीं झेल सकता है। कई पश्चिमी राष्ट्र जिसमें जर्मनी और ब्रिटेन भी शामिल हैं उन्होंने इजरायल को बदला लेने से रोकने की प्रयास की। लेकिन इजरायल के पीएम बेंजामिन नेतान्याहू ने साफ कर दिया था कि वह किसी के दबाव में आने वाले नहीं हैं और ईरान को उत्तर वो अपने दम पर देंगे। इजरायल ने अपना दम दिखाते हुए ईरान पर धावा कर दिया है।
जानिए इजरायल-ईरान वार से जुड़ी दस बड़ी बातें
- -इजरायल ने ईरान के जिस शहर इस्फहान पर धावा किया है वो शहर ईरान का सेना अड्डा है और यहां परमाणु संयंत्र भी हैं।
- -इस्फहान शहर ईरान का तीसरा सबसे बड़ा शहर है, जहां की जनसंख्या लगभग 22 लाख है।
- -इस्फहान में इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड काॅर्प्स का जरूरी सेना अड्डा है और यहां से ईरान का सबसे बड़ा यूरेनियम प्रोग्राम भी आपरेट होता है।
- -इस्फहान ईरान का काफी जरूरी शहर है, जहां से कई रणनीतिक निर्णय भी लिए जाते हैं, ऐसे में इजरायल, ईरान को यह संदेश देना चाहता है कि वह जब चाहे ईरान को उसकी औकात बता सकता है।
- -ईरान ने दमिश्क में हुए हमले का बदला लेने के लिए इजरायल पर 13 अप्रैल को धावा किया था।
- -अमेरिकी दबाव के आगे नहीं झुका इजरायल, ईरान पर की जवाबी कार्रवाई
- -खाड़ी क्षेत्र में युद्ध छिड़ने के बाद कच्चे ऑयल की मूल्य में भारी बढ़ोतरी दर्ज हो सकती है।
- -भारत का सेना व्यापार हो सकता है प्रभावित, क्योंकि इजरायल से सबसे अधिक सेना हथियार हिंदुस्तान ही खरीदता है।
- -इजरायल का रवैया यदि बदला लेने वाला ही रहा, तो छिड़ सकता है महायुद्ध
- -अमेरिका इजरायल के समर्थन में खड़ा है, लेकिन युद्ध वह भी नहीं चाहता है।