लेटैस्ट न्यूज़

तेलंगाना, तमिलनाडु और केरल में भाजपा इस बार चौंकाने वाले देने है परिणाम

लोकसभा चुनाव 2024 को लेकर अनेक दल अपनी-अपनी जीत के दावे कर रहे हैं. बीजेपी अपनी तीसरी टर्म की गवर्नमेंट को लेकर पूरी तरह से आश्वस्त है. नितिन गडकरी ने हिन्दुस्तान से वार्ता में दावा किया कि वे चुनाव में बीजेपी की जीत को लेकर 110 प्रतिशत आश्वस्त हैं. उन्होंने बोला कि विपक्ष के पास मोदी जैसा चेहरा नहीं है. इस बार बीजेपी उत्तर प्रदेश में 2019 से बेहतर प्रदर्शन करेगी. अन्य राज्यों में भी बीजेपी का प्रदर्शन अच्छा होने वाला है. दक्षिण भारतीय राज्यों को लेकर उन्होंने दावा किया कि तेलंगाना, तमिलनाडु और केरल में बीजेपी इस बार चौंकाने वाले रिज़ल्ट देने वाली है.

केंद्रीय सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी बीजेपी के उन वरिष्ठ नेताओं में हैं, जिनकी मजबूत पहचान और काम करने का अलग अंदाज है. महाराष्ट्र की नागपुर संसदीय सीट से तीसरी बार मैदान में उतरे गडकरी न केवल अपनी जीत को लेकर आश्वस्त हैं बल्कि भारी बहुमत से तीसरी बार केंद्र में बीजेपी गवर्नमेंट बनाने का दावा भी करते हैं. वे कहते है कि पीएम मोदी में जनता को आशा दिखती है और बीजेपी में अपना भविष्य.

पेश है सियासी संपादक मदन जैड़ा से उनकी बातचीत.

सवाल- तीसरी बार जीत को लेकर कितने आश्वस्त हैं ?
जवाब- 110 फीसदी.

सवाल- लेकिन कांग्रेस पार्टी का प्रत्याशी जातीय समीकरणों के हिसाब से काफी मजबूत कहा जा रहा है?
जवाब- मैं जात-पात, धर्म, भाषा से ऊपर उठकर नियमित रूप से लोगों की सेवा करता हूं. मेरा काम सरकारी कार्यक्रमों तक ही सीमित नहीं बल्कि पर्सनल क्षमता से भी काम करता हूं. मैंने 1.15 लाख लोगों की उपचार में सहायता की. 40 लाख लोगों के दिल का ऑपरेशन, 20 हजार का कैंसर उपचार, 350 लोगों को कृत्रिम पैर, एक लाख लोगों की आंखों की जांच और कोविड काल में पीड़ितों के उपचार के लिए करोड़ों के कार्य किए. इसी प्रकार खेल महोत्सव, सांस्कृतिक महोत्व तथा भक्ति महोत्व जैसे कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है जिनमें हजारों लोग हिस्सा लेते हैं. मेरे कार्यक्रमों के लाभार्थियों में हर जाति एवं धर्म के लोग शामिल होते हैं. मेरे प्रयासों से नागपुर शिक्षा का केंद्र भी बना है.

सवाल- आप राष्ट्रीय नेता है, फिर भी अपने संसदीय क्षेत्र के लिए इतना समय कैसे निकाल लेते हैं ?
जवाब- इमारत ऊंची होगी तो उसकी नींव भी मजबूत होगी. मैंने राज्यसभा सांसद के तौर पर करियर नहीं बनाया है. मैंने प्रारम्भ से यहां जमीन पर काम किया है. यहीं के लिए नहीं बल्कि पूरे विदर्भ के लिए कर रहा हूं.

सवाल- इन चुनावों में महाराष्ट्र में बीजेपी के प्रदर्शन को कैसे देखते हैं ?
जवाब- पिछली बार महाराष्ट्र में बहुत बढ़िया जीत मिली थी. तब शिवसेना साथ थी और 41 सीटें जीती थीं. लेकिन इस बार शिवसेना के साथ-साथ एनसीपी का इंजन भी लग गया है. मुझे लगता है कि इस बार प्रदर्शन और बेहतर होगा. पिछली बार से एक-दो सीटें और अधिक जीतेंगे.

सवाल- पूरे राष्ट्र में पार्टी का प्रदर्शन कैसा रहेगा?
जवाब- बीजेपी 370 और एनडीए 400 पार

सवाल- दक्षिणी राज्यों में पीएम काफी मेहनत कर रहे हैं, कैसे नतीजों की आशा है?
जवाब- केरल एवं तमिलनाडु में इस बार हमारी अच्छी सीटें आएंगी.

सवाल- कर्नाटक एवं तेलंगाना में कैसा रहेगा?
जवाब- कर्नाटक में हम पिछला प्रदर्शन कायम रखेंगे. तेलंगाना में सीटें बढ़ेंगी.

सवाल- यदि उत्तरी राज्यों की बात करें तो सबसे बड़े राज्य यूपी में कैसे प्रदर्शन की आशा रखते हैं?
जवाब- यूपी में हमारा प्रदर्शन इस बार 2019 से बेहतर होगा. अन्य उत्तरी राज्यों में भी पिछले प्रदर्शन को दोहराएंगे.

सवाल- आपको लगता है कि यूपी में सपा-कांग्रेस गठबंधन काम नहीं करेगा?
जवाब- हां, दरअसल, कांग्रेस पार्टी अपनी विश्वसनीयता खो चुकी है.

सवाल- लेकिन राहुल गांधी ने राष्ट्र में दो बड़ी यात्राएं पिछले दिनों की हैं, विधानसभा चुनावों में उन्हें कुछ राज्यों में लाभ भी इससे मिला है?
जवाब- यात्रा करें. यह सब विपक्ष का काम है, वह करें. लेकिन जब राष्ट्र की जनता मोदी जी के दस वर्षों के शासन और कांग्रेस पार्टी के 60 वर्षों के शासन की तुलना करती है तो उसे मोदी जी में आशा नजर आती है. बीजेपी में भविष्य दिखता है, इसलिए लोग फिर से बीजेपी को जिताएंगे. साफ है कि जनता कांग्रेस पार्टी में अपना भविष्य नहीं देखती है. लोगों का विश्वास बीजेपी पर है.

सवाल- बिहार में नितीश को फिर से साथ लाने की आवश्यकता क्यों पड़ी?
जवाब- बीजेपी सबको साथ लेकर चलती है, इसलिए. एनडीए वहां पिछला प्रदर्शन दोहराएगा.

सवाल- कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता शशि थरूर ने पीएम मोदी के चेहरे को लेकर बोला है कि लोकतंत्र में आदमी जरूरी नहीं है. पीएम का चेहरा जीत के बाद भी तय हो सकता है, इसे कैसे देखते हैं?
जवाब- उनके पास मोदी जैसा कोई चेहरा नहीं है, इसलिए वे ऐसा कह रहे हैं.

सवाल- चुनाव से ठीक पहले दो-दो मुख्यमंत्रियों की गिरफ्तारी तथा कांग्रेस पार्टी के खातों को सील करने का क्या संदेश है?
जवाब- इसका गवर्नमेंट या बीजेपी से कोई लेना-देना नहीं है. एजेंसियां अपना काम कर रही हैं.

सवाल- कांग्रेस पार्टी शासन में जब उच्चतम न्यायालय ने CBI को तोता बोला था तो बीजेपी काफी मुखर हुई थी लेकिन आज आपकी गवर्नमेंट पर ही सबसे अधिक इल्जाम लगते हैं?
जवाब- हमारी गवर्नमेंट एजेंसियों के कामकाज में कोई हस्तक्षेप नहीं करती है. जिन लोगों ने करप्शन किया है, उन मामलों में एजेंसियां कार्रवाई कर रही हैं. यदि कोई बेगुनाह है तो यह न्यायालय तय करेगी.

सवाल- यदि आप इतने मजबूत हैं तो बाहरी नेताओं को क्यों ले रहे हैं?
जवाब- नागपुर में तो कोई नहीं आया. हमारे विचारों को व्यापक समर्थन मिल रहा है. पीएम मोदी के कामकाज से प्रभावित होकर लोग आ रहे हैं.

सवाल- ‌अगले पांच वर्षों के लिए आप का क्या एजेंडा है?
जवाब- 20 अप्रैल को बीजेपी विजन डाक्यूमेंट जारी कर रही है, जिसमें सबकुछ लिखा होगा.

‌सवाल- जलमार्ग, सड़क के बाद आप क्या रेल के सुधार का जिम्मा लेंगे, जैसा कि लोगों में चर्चाएं हैं?
जवाब- अभी मंत्रालय सौ दिन के एजेंडे पर कार्य कर रहा है. आगे क्या होता है, यह चुनाव नतीजों के बाद तय होगा.

‌सवाल- वैसे आपकी रुचि किसमें है ?
जवाब- जो काम मिलेगा, उसे रुचि लेकर करूंगा.

‌सवाल- एक बात यह फैलाई जा रही है कि यदि बीजेपी तीसरी बार सत्ता में आई तो संविधान बदल दिया जाएगा?
जवाब- जब कांग्रेस पार्टी देखती है कि वह चुनाव हार रही है तो इस प्रकार की बातें फैलाती है. लोगों को समझना होगा कि संविधान दो तरह का है. एक जो मूलभूत तत्व हैं, जिसमें लोकतंत्र, समाजवाद, धर्मनिरक्षेपता, मूलभूत अधिकार आदि स्वरूपों की बात कहीं गई है, उन्हें बदला नहीं जा सकता है. उच्चतम न्यायालय के सात जजों की पीठ ने केशवानंद भारती मुद्दे में यह प्रबंध दी है. बाकी जो परिवर्तन जनता के कामकाज से जुड़े होते हैं, वह होते रहते हैं. कांग्रेस पार्टी के शासन में 80 परिवर्तन हुए हैं. ऐसे तो सबसे अधिक संविधान उसी ने तोड़ा है.

इसी प्रकार मुस्लिमों को लेकर भी भ्रांतियां फैलाई गई. जबकि बीजेपी के दस वर्षों के शासन में जो भी विकास कार्य प्रारम्भ किए गए उसमें सभी लोगों को लाभ हुआ. वे कार्य किसी जाति-धर्म के लोगों के लिए नहीं थे. इसी प्रकार धर्मनिरक्षेप का मतलब सर्वधर्म समभाव होता है. लेकिन कांग्रेस पार्टी ने इसका मतलब अल्पसंख्यकों का तुष्टिकरण निकाला.

‌सवाल- कोई काम आप करना चाहते थे जो दस वर्षों में नहीं कर पाए?
जवाब- मैं अधिक नहीं सोचता हूं. खाता-पीता हूं आनंद लेता हूं. मैं केवल गवर्नमेंट में काम नहीं करता हूं. गरीबों, दिव्यांगों, किसानों के लिए मेरा कार्य जारी रहता है. सोशल मीडिया पर पूरे विश्व में मेरे साढ़े चार करोड़ फॉलोवर्स हैं. अमेरिका से लेकर यूरोप तक मेरे काम की चर्चा होती है. ठीक अर्थ में मैं कभी-कभी अपने को राजनीतिज्ञ नहीं, सामाजिक कार्यकर्ता मानता हूं. हां, राजनीति सामाजिक परिवर्तन का जरिया है. इसलिए मेरा काम जारी रहेगा.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button