पीएम नरेंद्र मोदी : इंडी गठबंधन के पास देश के विकास का कोई एजेंडा नहीं है, सिर्फ…
नेटवर्क18 के साथ विशेष इंटरव्यू में पीएम मोदी ने विपक्षी दलों के इंडी गठबंधन (INDI alliance) पर कटाक्ष करते हुए बोला कि यह गठबंधन पीएम का नाम तय नहीं कर पाया है। इंडी गठबंधन में शामिल सभी नेताओं में स्वयं पीएम बनने की होड़ मची हुई है। इनके पास राष्ट्र के विकास का कोई एजेंडा नहीं है, केवल स्वयं के विकास को लेकर आगे बढ़ रहे हैं।
नेटवर्क18 के ग्रुप एडिटर राहुल जोशी ने प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी के बयान पर ही उनसे प्रश्न करते हुए पूछा, ‘आपने बोला है कि यदि इनका गठबंधन गवर्नमेंट बनाएगा, तो पीएम बाय रोटेशन होगा। ये तय नहीं कर पा रहे हैं कि किसको पीएम बनाएंगे। तो एक-एक वर्ष के लिए सब लोग पीएम बनेंगे। प्रश्न यह है कि क्या आपको लगता है कि जिस स्टेज में इण्डिया का जो डेवलपमेंट है, उसमें कोइलिशन गवर्मेंट काम करेगी या एक स्टेबल गवर्मेंट अधिक इफेक्टिव होगी?’
इस पर पीएम मोदी ने बोला कि आपने कांग्रेस पार्टी का चरित्र देखा है। राजस्थान में कांग्रेस पार्टी पार्टी के अंदर अंतरिक संघर्ष था। उन्होंने फॉर्मूला बनाया था- ढाई-ढाई वर्ष सीएम का। ढाई वर्ष एक सीएम रहेंगे। ढाई वर्ष दूसरे रहेंगे। बड़ा ही प्रचलित फॉर्मूला है। छत्तीसगढ़ में भी कांग्रेस पार्टी पार्टी के भीतर ऐसा ही झगड़ा हुआ। वहां भी उन्होंने फॉर्मूला बनाया कि ढाई वर्ष एक मुख्यमंत्री, ढाई वर्ष दूसरा।
कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ में बहुत ही संभालकर कर वाहन चलाई। और ये भी सच्चाई है कि ढाई वर्ष के बाद वो मुकर गए। यानी कांग्रेसियों ने स्वयं की पार्टी के साथ विश्वासघात किया। स्वयं की पार्टी को अंदरूनी विश्वासघात देने की इनकी प्रवृति है।
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘मैंने इंडी गठबंधन से प्रश्न किया कि आप इतना बड़ा राष्ट्र किसको सुपुर्द करेंगे। किसे पीएम बनाएंगे, कोई तो नाम होना चाहिए। किसी चेहरे को आगे बढ़ाना होगा। लेकिन आप बता नहीं रहे हो कि इतने बड़े राष्ट्र को चलाने की जिम्मेदारी किसे देंगे और तब जाकर उन्होंने कोई ऐसा फॉर्मूला बनाया है’वन ईयर वन पीएम’ फॉर्मूला।’
उन्होंने बोला कि इस फार्मूले के अनुसार एक पीएम एक वर्ष रहेगा। एक वर्ष पूरा होने के बाद दूसरा पीएम आएगा। फिर शपथ ग्रहण होगा। पूरी नयी गवर्नमेंट बनाई जाएगी। नया मंत्रिमंडल बनाया जाएगा। हर वर्ष शपथ ग्रहण कार्यक्रम होगा। पूरे वर्ष सिर्फ़ शपथ लेने का काम होता रहेगा। पांच वर्ष और क्या होगा? राष्ट्र संकट में उलझता रहेगा और वे शपथ कार्यक्रम में उलझते रहेंगे।
पीएम मोदी ने प्रश्न किया कि कोई राष्ट्र भला ऐसे चल सकता है? उन्होंने बोला कि इतना बड़ा राष्ट्र है। राष्ट्र ने 30 वर्ष तक अस्थिरता देखी है। मिली-जुली सरकारों का दौर देखा है।
नरेंद्र मोदी ने बोला कि आज दुनिया में हिंदुस्तान के प्रति एक विश्वास बढ़ा है उसका कारण हिंदुस्तान के 140 करोड़ लोगों ने एक स्थिर, मजबूत, साफ बहुमत वाली गवर्नमेंट बनाई है। इस गवर्नमेंट के पास जनादेश है। मिली-जुली गवर्नमेंट पर कोई भरोसा ही नहीं करता है। और इतना बड़ा राष्ट्र ऐसे थोड़े चल सकता है। लेकिन, आज राष्ट्र की राजनीति ऐसी है कि कोई एक पार्टी कितने ही बहुमत से क्यों न जीते, उसे क्षेत्रीय आकांक्षाओं का सम्मान करना ही होगा और इसलिए हमें पूर्ण बहुमत मिला, फिर भी हम गवर्नमेंट एनडीए की बनाते हैं। एनडीए के साथियों को लेकर बनाते हैं क्योंकि एक पार्टी को पूर्ण बहुमत मिलने के बाद भी राष्ट्र के सियासी उज्ज्वल भविष्य के लिए, राष्ट्र के लोगों के आकांक्षाओं के लिए, क्षेत्रीय आकांक्षाओं को उतना ही सम्मान देना चाहिए, उतना ही हिस्सा देना चाहिए और ये चरित्र एनडीए ने विकसित किया है। बीजेपी ने करके दिखाया है।