शिक्षक द्वारा छात्रों के सामने कुछ धार्मिक शब्दों का प्रयोग करने की मिली शिकायत: DCP रोहित मीणा
शाहदरा के DCP रोहित मीणा ने बोला कि हमें एक विद्यालय शिक्षक द्वारा विद्यार्थियों के सामने कुछ धार्मिक शब्दों का प्रयोग करने की कम्पलेन मिली। हमने मुद्दे का संज्ञान लिया है। हमारे किशोर कल्याण अधिकारी, परामर्शदाताओं के साथ मिलकर काउंसलिंग कर रहे हैं।
शिक्षकों को आजकल हो क्या गया है? राष्ट्र के समाज को शिक्षित करने की जिम्मेदारी जिन लोगों पर है यदि उन पर ही प्रश्न उठने लगें तो यह चिंताजनक बात है। हम आपको बता दें कि अभी यूपी के मुजफ्फरनगर में एक मुसलमान विद्यार्थी के साथ दुर्व्यवहार और जम्मू में एक हिंदू विद्यार्थी के साथ दुर्व्यवहार का मुद्दा ठंडा भी नहीं पड़ा था कि अब राष्ट्र की राजधानी दिल्ली के एक विद्यालय से भी विवादित मुद्दा सामने आया है। हम आपको बता दें कि पूर्वी दिल्ली के गांधी नगर में एक विद्यालय की कक्षा में एक विशेष समुदाय के विरुद्ध कथित तौर पर अपमानजनक टिप्पणियां करने के मुद्दे में एक शिक्षक के विरुद्ध मुद्दा दर्ज किया गया है। इस तरह की खबरें हैं कि शिक्षक ने विद्यार्थी से यह भी बोला था कि तुम पाक क्यों नहीं चले जाते? पुलिस ने बोला कि ये टिप्पणियां पिछले हफ्ते की गई थीं। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा, ‘‘घटना पिछले सप्ताह की है। हमें कम्पलेन मिली और हमने शिक्षक के विरुद्ध मुद्दा दर्ज किया है। मुद्दे की जांच चल रही है।’’
शाहदरा के DCP रोहित मीणा ने बोला कि हमें एक विद्यालय शिक्षक द्वारा विद्यार्थियों के सामने कुछ धार्मिक शब्दों का प्रयोग करने की कम्पलेन मिली। हमने मुद्दे का संज्ञान लिया है। हमारे किशोर कल्याण अधिकारी, परामर्शदाताओं के साथ मिलकर काउंसलिंग कर रहे हैं। उन्होंने बोला कि कानूनी कार्रवाई की जाएगी। इसमें 2-3 विद्यार्थी हैं इसलिए हम उन सभी की काउंसलिंग कर रहे हैं। हम ठीक तथ्यों के साथ मुनासिब धाराओं में मुद्दा दर्ज करेंगे। उन्होंने बोला कि यह एक सरकारी विद्यालय है।
दूसरी ओर, इस मुद्दे पर टिप्पणी करते हुए एक अभिभावक कौसर ने बताया, “मेरे दो बच्चे यहां पढ़ते हैं- एक कक्षा 7 में और दूसरा कक्षा 4 में है। यदि शिक्षक को सजा नहीं मिलती है, तो अन्य शिक्षकों का साहस बढ़ जाएगा और वे “हमारे दीन के नहीं हैं” जैसी बातें करेंगे।” उन्होंने बोला कि उनसे बोला जाना चाहिए कि वे केवल पढ़ाएं और उन चीजों पर बात न करें जिनके बारे में उन्हें कोई जानकारी नहीं है। स्त्री ने बोला कि ऐसे शिक्षक का कोई लाभ नहीं जो विद्यार्थियों के बीच मतभेद पैदा कराए। उन्होंने बोला कि हमारी मांग है कि शिक्षिका को विद्यालय से हटाया जाए, वह किसी भी विद्यालय में ना पढ़ाए क्योंकि वह जहां भी जाएगी, ऐसा ही करेगी।
वहीं, इस मुद्दे पर गांधी नगर के विधायक अनिल कुमार वाजपेयी ने कहा, ‘‘यह सरासर गलत है, बच्चों को अच्छी शिक्षा देना एक शिक्षक की जिम्मेदारी है। शिक्षक को किसी भी धार्मिक जगह के विरुद्ध अपमानजनक टिप्पणी नहीं करनी चाहिए। ऐसे लोगों को अरैस्ट किया जाना चाहिए।’’
बहरहाल, हम आपको यह भी बता दें कि मुजफ्फरनगर में शिक्षिका के निर्देश पर जिस विद्यार्थी को उसके सहपाठियों ने कथित रूप से थप्पड़ मारा था, उसका दाखिला एक अंग्रेजी माध्यम विद्यालय में कराया गया है। जमीअत-उलमा-ए हिंद ने यह जानकारी दी। जमीअत-उलमा-ए हिंद के अध्यक्ष मौलाना मुकर्रम ने कहा कि जमीअत-उलमा ए हिंद (मौलाना अरशद मदनी के नेतृत्व वाली) ने लड़के को मुफ़्त शिक्षा दिलाने का जिम्मा उठाया है और उसे खुब्बापुर गांव से कुछ किलोमीटर दूर शाहपुर कस्बे में एक अंग्रेजी माध्यम विद्यालय में दाखिला दिलाया है।