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भारत-कनाडा संबंधों में तनाव का मुख्य कारण कनाडा में खालिस्तान आंदोलन

एक तरफ मोदी गवर्नमेंट जी-20 की सफल मेजबानी का उत्सव मनाने में व्यस्त थी, दूसरी तरफ इसी दौरान कनाडा के साथ संबंध टूटने की स्थिति में पहुंच गए अब इस झगड़े के लिए एक स्त्री को उत्तरदायी कहा जा रहा है

भारत-कनाडा संबंधों में तनाव का मुख्य कारण कनाडा में खालिस्तान आंदोलन है जस्टिन ट्रूडो द्वारा हिंदुस्तान पर खालिस्तान आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की मर्डर का इल्जाम लगाने के बाद ये संबंध अब टूटने की स्थिति में पहुंच गए हैं

भारत ने कनाडा के आरोपों को खारिज कर दिया है और कनाडा गवर्नमेंट ने एक भारतीय राजनयिक को निष्कासित कर दिया है इसके उत्तर में हिंदुस्तान ने भी कनाडाई राजनयिक को राष्ट्र छोड़ने के लिए बोला है

बता दें कि कनाडा में सिखों की जनसंख्या 7,70,000 से अधिक है यह आंकड़ा देश की कुल जनसंख्या का दो प्रतिशत है हालाँकि कनाडा के सियासी और सामाजिक जीवन में बहुत जरूरी है

बता दें कि कनाडा में खालिस्तान आंदोलन मजबूत होता जा रहा है और ट्रूडो गवर्नमेंट इस पर काबू पाने के लिए कोई कोशिश नहीं कर रही है यह साफ है कि खालिस्तान आंदोलन को ट्रूडो गवर्नमेंट का पूरा समर्थन प्राप्त है

रिपोर्ट्स के मुताबिक, 2015 में जब जस्टिन ट्रूडो ने अपनी पहली गवर्नमेंट बनाई तो तत्कालीन राष्ट्रीय सुरक्षा मंत्री जोडी थॉमस को खालिस्तान आंदोलन को बढ़ावा देने का काम सौंपा गया था ये वही स्त्री है जिसके बारे में हम बात कर रहे हैं

ट्रूडो की पहली गवर्नमेंट में चार सिख मंत्री शामिल थे तब उन्होंने बोला था कि उनके मंत्रिमंडल में जितने सिख शामिल हैं, उतने हिंदुस्तान के मंत्रिमंडल में भी नहीं हैं

इसके बाद जोडी थॉमस ने कनाडा में खालिस्तान आंदोलन को सुरक्षा प्रदान की 2017 में कनाडा का राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार बनाए जाने के बाद से जोडी थॉमस ने हिंदुस्तान विरोधी रुख अपनाना और खालिस्तान आंदोलन को बढ़ावा देना जारी रखा है

जून 2023 में ही जोडी थॉमस ने हिंदुस्तान पर कनाडा के मामलों में दखल देने का इल्जाम लगाया था उन्होंने एक सम्मेलन में बोला कि, जब मैं विदेशी हस्तक्षेप और आर्थिक सुरक्षा के बारे में बात करता हूं, तो अब मैं कई राज्य अभिनेताओं और गैर-राज्य प्रतिनिधियों के बारे में बात कर रहा हूं जिसमें रूस, ईरान और हिंदुस्तान शामिल हैं

इसके अतिरिक्त जोडी थॉमस कई विवादों में फंस चुकी हैं उनके बेटे पर गैरकानूनी रूप से एक बड़ा सेना अनुबंध हासिल करने का इल्जाम है 2021 में इस जोड़ी ने कनाडाई रक्षा उद्योग के ऑफिसरों को विवादास्पद $77 बिलियन युद्धपोत परियोजना के बारे में प्रश्न उठाने के विरुद्ध चेतावनी दी

इसके अतिरिक्त वह चीन को लेकर दिए अपने बयान को लेकर भी कठिन में फंस गई थीं कनाडा के चुनावों में चीनी हस्तक्षेप का खुलासा हुआ था और दावा किया गया था कि चीन ने कनाडा में 2019 और 2021 के चुनावों में कई उम्मीदवारों को पैसे दिए थे

ट्रूडो ने मुद्दे की जांच के लिए सभी दलों के सदस्यों की एक समिति बनाई जब समिति ने जोडी थॉमस से पूछताछ की, तो उन्होंने चुनाव में चीनी हस्तक्षेप से साफ इनकार कर दिया और बोला कि उन्हें याद नहीं है कि उन्होंने पहले क्या बोला था

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