राष्ट्रीय

आरक्षण पर बोले पीएम नरेंद्र मोदी

 

पीएम नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस पार्टी पर इल्जाम लगाया है कि वह संविधान और आरक्षण को लेकर असत्य फैला रही है. उन्होंने महाराष्ट्र के सोलापुर में एक रैली को संबोधित करते हुए बोला कि ओबीसी अगुवाई के नाम पर ये लोग असत्य फैला रहे हैं. इनकी सच्चाई सामने आ गई है तो बौखला गए हैं. आपने देखा होगा कि ये लोग केवल मोदी को गाली दे रहे हैं, इनके पास चुनाव में कोई मामला ही नहीं बचा है. कांग्रेस पार्टी ने दशकों तक एससी, एसटी और ओबीसी से जिस तरह विश्वासघात किया है, उसके चलते ये लोग उससे नाराज हैं.

उन्होंने बोला कि अब ये लोग असत्य फैला रहे हैं कि संविधान बदल देंगे और आरक्षण समाप्त कर देंगे. मैं पहले ही कह चुका हूं कि स्वयं बाबासाहेब आंबेडकर चाहें तो संविधान को बदल नहीं सकते. सैकड़ों वर्षों तक जिनके साथ अन्याय हुआ, हमारे पूर्वजों ने पाप किए होंगे. मेरे लिए यह प्रायश्चित का अवसर है. इसलिए आरक्षण को जितनी ताकत मैं दे सकता हूं, उसके लिए प्रतिबद्ध हूं. मैं आज अधिक से अधिक सीटें इसलिए मांग रहा हूं कि एससी, एसटी और ओबीसी के आरक्षण में खेल न हो सके. प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने बोला कि इन लोगों ने आरक्षण का बड़ा हिस्सा माइनॉरिटी को देने का खेल खेला है. इसलिए आपसे मैं आशीर्वाद मांगने आया हूं कि मोदी की मजबूत करो.

महाराष्ट्र में विपक्षी गठबंधन पर धावा बोलते हुए बोला कि कांग्रेस पार्टी के 60 वर्षों के राज में सबसे अधिक एससी, एसटी और ओबीसी के परिवारों की ही सबसे अधिक हालत खराब रही. गांवों के बाहर झुग्गियों में रहने वाले लोग आखिर कौन हैं? हमारे दलित समुदाय के लोग ही हैं. आज उन लोगों को पहले फायदा मिल रहा है, जो दशकों से पिछड़े हुए थे. हम मानते हैं कि राष्ट्र के संसाधनों पर पहला अधिकार उन लोगों का है, जो अंतिम पंक्ति में हैं. महात्मा गांधी भी ऐसा ही कहते थे. प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने बोला कि निःशुल्क राशन, बिजली, गैस सिलेंडर और आवास जैसी जरूरतें इन्हीं वर्गों की सबसे अधिक थीं.

इसलिए हम उन योजनाओं को लाए और बिना किसी भेदभाव के लागू किया गया. प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने बोला कि इन स्कीमों से जोड़ने के लिए हमारी समाज घर-घर पहुंची है. पीएम ने इस दौरान कमजोर आर्थिक वर्ग को मिलने वाले EWS आरक्षण का भी जिक्र किया. उन्होंने बोला कि हमने एससी, एसटी और ओबीसी के लोगों का अधिकार मारे बिना ही सामान्य वर्ग के गरीबों को आरक्षण दिया. इसके विरुद्ध कहीं कोई अत्याचार नहीं हुई बल्कि दलित नेताओं ने भी स्वागत किया.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button