अंतर्राष्ट्रीय

ईरान के हमले के बाद से ही इज़रायल ईरान से बदला लेने को बेताब

Israel-Iran Attack: 13 अप्रैल को हुए ईरान के हमले के बाद से ही इज़रायल ईरान से बदला लेने को बेताब है और इसके लिए इजरायली सेना ने अपनी तैयारी भी तेज कर दी है लेकिन अमेरिका समेत कई पश्चिमी राष्ट्र इजरायल को ईरान पर कार्रवाई करने से रोक रहे हैं अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने बेंजामिन नेतन्याहू को साफ कह दिया है कि यदि ईरान पर धावा होता है तो अमेरिका इसमें इजरायल की सहायता नहीं करेगा

वहीं जर्मनी और ब्रिटेन ने भी इजरायल को ईरान के साथ युद्ध न करने की राय दी है जर्मनी और ब्रिटेन के विदेश मंत्रियों ने पीएम नेतन्याहू से मुलाकात कर बोला कि इजरायल की ईरान के विरुद्ध कोई भी कार्रवाई मीडिल ईस्ट को बड़े युद्ध की तरफ ले जा सकती है

‘इजरायल किसी के दबाव में नहीं झुकेगा’

वहीं इजराइली वॉर और सुरक्षा कैबिनेट की बैठक के बाद पीएम नेतन्याहू ने साफ कर दिया है कि सहयोगी राष्ट्रों की राय चाहे जो भी हो, इज़रायल किसी दबाव के आगे नहीं झुकेगा और ईरान पर धावा कब करना है इसका निर्णय स्वयं लेगा

इजरायल के पीएम बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा, दुनिया के नेताओं ने मुझे हर तरह के सुझाव और राय दी है मैं इसकी सराहना करता हूं लेकिन मैं ये साफ करना चाहता हूं कि हम अपने निर्णय स्वयं लेंगे इज़रायल अपनी रक्षा के लिए वो सब करेगा जो आवश्यक है

ईरान पर धावा नहीं करना चाहिए- सर्वे

वहीं इजरायल की हिब्रू यूनिवर्सिटी के एक ओपिनियन पोल के अनुसार 74 प्रतिशत लोगों का मानना है कि यदि इजराइल के सहयोगी राष्ट्र तैयार नहीं है, तो इजरायल को ईरान पर धावा नहीं करना चाहिए

13 अप्रैल को इजरायल पर हमले के बाद ईरान की मुश्किलें और बढ़ने वाली हैं क्योंकि यूरोपीय संघ ईरान पर कई और कड़े प्रतिबंध लगाने जा रहा है यूरोपीय संघ ने पहले ही ईरान के विरुद्ध कई प्रतिबंध लगा रखे हैं, जिनमें व्यापार, ट्रैवल और संपत्ति फ्रीज जैसे प्रतिबंध शामिल है लेकिन अब इसका दायरा और बढ़ाने की तैयारी की जा रही है

यूरोपीय संघ की बैठक में EU के नेताओं ने मध्य पूर्व में युद्ध रोकने और तनाव कम को लेकर चर्चा की बैठक में शामिल सभी राष्ट्रों ने सर्वसम्मति से ईरान पर प्रतिबंध लगाने पर सहमति जताई

क्या ईरान पर लगेंगे प्रतिबंध

यूरोपीय संघ के विदेश मंत्रियों की बैठक में ईरान पर प्रतिबंधों को लेकर चर्चा हुई, सभी इस बात पर सहमत थे कि उन सभी पर प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए जो इजराइल पर धावा करने वालों और लाल सागर में जहाजों पर धावा करने वालों को ड्रोन, हथियार और मिसाइल देते हैं

वहीं बेल्जियम के पीएम अलेक्जेंडर डी क्रू ने इजरायल पर ईरान के हमलों की आलोचना की और  ईरान के रिवॉल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स के विरुद्ध प्रतिबंध लगाने का समर्थन किया

‘ईरान के हमलों की करते हैं निंदा’

बेल्जियम के पीएम अलेक्जेंडर डी क्रू ने कहा, हम इजरायल पर ईरान के हमलों की आलोचना करते हैं, ईरान के हमले को एकदम भी बर्दाश्त नहीं किया जा सकता, हम ईरान पर प्रतिबंधों पर विचार कर रहे हैं ईरान के रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स को प्रतिबंधों की सूची में डाला जाना चाहिए

वहीं इजरायल ने ईरान पर प्रतिबंध लगाने के यूरोपीय संघ के निर्णय का स्वागत किया है अमेरिका ने जहां एक तरफ ईरान पर हमले के लिए इजरायल को सहायता देने से इनकार कर दिया है वहीं हमास के खात्मे के लिए चलाए जा रहे राफा ऑपरेशन को अपनी सहमति दे दी है

इससे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने हमास आतंकवादियों के खात्मे के लिए राफा शहर में इजरायल के ऑपरेशन का विरोध किया था लेकिन अब उसने राफा में इजरायल की कार्रवाई का समर्थन किया है

राफा पर इजरायल करेगा हमला

हाल ही में इजरायल के पीएम बेंजामिन नेतन्याहू ने हमास के दक्षिणी गाजा के शहर राफा पर जल्द ही धावा करने का घोषणा किया था, इजरायल का मानना है कि राफा शहर हमास के आतंकवादियों का अंतिम गढ़ है राफा में ही हमास के सबसे अधिक आतंकवादी उपस्थित हैं इसलिए हमास के आतंकवादियों को समाप्त करने के लिए राफा पर धावा करना आवश्यक है यही वजह है कि नेतन्याहू बार-बार राफा में इजरायली सेना को भेजने की बात करते रहे हैं

हालांकि, कई राष्ट्र इजरायल के ऑपरेशन राफा का विरोध कर चुके हैं उनका मानना है कि इजरायल के राफा में धावा करने से वहां रह रहे लाखों शरणार्थियों की जान को खतरा हो सकता है लेकिन अब अमेरिका ने राफा में इजरायल की कार्रवाई कर समर्थन किया है इसकी एक वजह ये भी है कि अमेरिका इजरायल और ईरान युद्ध को रोकने की प्रयास में लगा है क्योंकि यदि इजरायल ईरान पर धावा करता है तो अमेरिका को ना चाहते हुए भी जंग में कूदना पड़ सकता है

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