जानें Mukhtar Ansari के खौफ का वो किस्सा, जब योगी जी पर करवाया था हमला
Mukhtar Ansari Yogi Adityanath Enmity: माफिया मुख्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) की अब मृत्यु हो चुकी है। लेकिन 2005 के मऊ दंगे के बाद से सूबे के मुख्यमंत्री और गोरखपुर के तत्कालीन सांसद योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) ने मुख्तार अंसारी के आंतक के विरुद्ध मोर्चा खोला था। कारावास जाने से पहले माफिया मुख्तार अंसारी का खौफ लोगों में छाया था। और 2005 में मऊ में भयंकर दंगा हो गया। मुख्तार अंसारी वहां पर हथियारों को लहराते हुए खुली जीप में घूम रहा था। लोग उसके डर के साए में जी रहे थे।
तो उस समय के सांसद योगी आदित्यनाथ ने मुख्तार अंसारी को चुनौती दी थी और बोला था कि वह मऊ दंगे के पीड़ितों को न्याय दिला के रहेंगे। मऊ दंगों के तीन वर्ष बाद यानी वर्ष 2008 में योगी आदित्यनाथ ने मुख्तार अंसारी को फिर ललकारा। योगी आदित्यनाथ ने हिंदू युवा वाहिनी के नेतृत्व में घोषणा किया कि वह आजमगढ़ में आतंकवाद के विरुद्ध रैली निकालेंगे।
जब योगी आदित्यनाथ पर मुख्तार अंसारी ने धावा कराया!
लेकिन जब योगी आदित्यनाथ का काफिला निकला तो काफिले के ऊपर धावा हो गया था। गनीमत रही कि किसी तरह योगी आदित्यनाथ ने अपनी जान बचा ली थी। जिस वाहन पर धावा हुआ उससे ऐन मौके पर योगी आदित्यनाथ निकल गए थे। योगी आदित्यनाथ ने इल्जाम लगाया था कि ये धावा मुख्तार अंसारी ने कराया था। जिसके बाद से हमेशा योगी आदित्यनाथ, मुख्तार अंसारी के खौफ के विरुद्ध लड़ते रहे और जब सूबे के मुख्यमंत्री बने तो मुख्तार अंसारी को पंजाब से उत्तर प्रदेश लाकर न्यायालय से कई मामलों में सजा दिलाई।
बहुत लंबी है मुख्तार अंसारी के गुनाहों की फेहरिश्त
माफिया मुख्तार अंसारी के गुनाहों की फेहरिश्त बड़ी लंबी है। माफिया मुख्तार अंसारी पर करीब 65 मुद्दे दर्ज थे। और उन्हीं में एक मुद्दा है फर्जी शस्त्र लाइसेंस लेने का था। माफिया मुख्तार अंसारी के विरुद्ध इल्जाम था कि उसने 10 जून 1987 को दोनाली बंदूक के लाइसेंस के लिए गाजीपुर के जिला मजिस्ट्रेट के यहां प्रार्थना पत्र दिया था। फिर डीएम और एसपी के फर्जी हस्ताक्षर से संस्तुति प्राप्त कर शस्त्र लाइसेंस ले लिया था। फर्जीवाड़ा खुलासा होने पर सीबीसीआईडी ने 4 दिसंबर 1990 को मुहम्मदाबाद पुलिस स्टेशन में मुख्तार अंसारी और तत्कालीन डिप्टी कलेक्टर सहित पांच के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कराया गया था।
जब सीएम ने रद्द कराया मुख्तार अंसारी के विरुद्ध केस
इस मुद्दे में न्यायालय ने मुख्तार अंसारी को जीवन भर जेल की सजा सुनाई। साथ ही दो लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया था। इसके साथ ही मुख्तार अंसारी पर लाइट मशीन गन खरीदने की योजना बनाने का भी इल्जाम लगा था। जिसका खुलासा एक रिकॉर्डिग से हुआ था। जिसके बाद पुलिस ने मुद्दा दर्ज किया था। हालांकि, मुख्तार अंसारी का रसूख उस समय इतना था कि तत्कालीन सीएम मुलायम सिंह से मुद्दे को रद्द करा दिया था।