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दिल्ली में हो रहे जी 20 का थीम रखा गया वन अर्थ, वन फैमिली, वन फ्यूचर

नई दिल्‍ली राष्ट्र की राजधानी दिल्ली में 9 और 10 सितंबर को दुनिया के सबसे ताकतवर राष्ट्र एक मंच में होंगे हिंदुस्तान इसकी प्रतिनिधित्व कर रहा है पीएम मोदी के नेतृत्व में हिंदुस्तान जी 20 की बैठक की अध्यक्षता करने वाला है इस बैठक के जरिये हिंदुस्तान अपनी साख, शक्ति और अपनी दूरगामी नीतियों से दुनिया को रूबरू करवाने जा रहा है पीएम मोदी की प्रयास इस बैठक के प्लेटफार्म से विकसित और विकासशील देशो की दूरियों को पाटकर दुनिया को विकास के एक धरातल में लाने की रहेगी

‘वन अर्थ, वन फैमिली, वन फ्यूचर’
दिल्ली में हो रहे है इस जी 20 का थीम वसुधैव कुटुम्बकम यानी वन अर्थ, वन फैमिली, वन फ्यूचर रखा गया है यानी विकास के इस दौड़ में किसी को पीछे धकेलकर कोई आगे बढ़ जाए ऐसा नहीं हो सकता है मनी कंट्रोल को दिए साक्षात्कार में भी पीएम मोदी ने इसका जिक्र किया कि सबका साथ और सबका विकास का लक्ष्य इस बैठक में हिंदुस्तान का एजेंडा रहने वाला है

ग्लोबल साउथ पर फोकस
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस बैठक के जरिये चाहते हैं कि 55 अफ्रीकन यूनियन को जी20 का सदस्य बनवाया जाए हालांकि कई राष्ट्र इसका विरोध कर रहे है, लेकिन हिंदुस्तान यदि ये कर पाया तो विश्वास मानिये विश्व में हिंदुस्तान की साख शिखर पर पहुंच जाएगी

भारत की पहल
जी 20 की इस बैठक में हिंदुस्तान दुनिया को ये बताने जा रहा है कि दुनिया कोअब जीडीपी-केंद्रित दृष्टिकोण से हटकर मानव-केंद्रित दृष्टिकोण की ओर बढ़ने की जरूरत है दुनिया को ग्लोबल सप्लाई चेन में सुदृढ़ता और विश्वसनीयता के महत्व को पहचानना ही होगा अंतरराष्ट्रीय संस्थानों में सुधार के माध्यम से बहुपक्षवाद को बढ़ावा देने का सामूहिक कोशिश करना चाहिए हिंदुस्तान के पीएम का मानना है कि ये सारे कोशिश संभव है

पीएम ने ब्लॉग के जरिये बैठक पर रखी राय
इस बैठक से पहले पीएम ने एक ब्लॉग के जरिये अपनी राय जगजाहिर की है पीएम ने कहा कि दिसंबर 2022 में जब हमने इंडोनेशिया से अध्यक्षता का भार संभाला था, तब बोला था कि जी-20 को मानसिकता में आमूल-चूल बदलाव का वाहक बनना चाहिए विकासशील देशों, ग्लोबल साउथ के राष्ट्रों और अफ्रीकी राष्ट्रों की हाशिए पर पड़ी आकांक्षाओं को मुख्यधारा में लाने के लिए इसकी विशेष जरूरत है

पीएम ने लिखा कि दुनिया में समावेशी विकास हो, इसके लिए हिंदुस्तान ने ‘वॉयस ऑफ ग्लोबल साउथ समिट’ का भी आयोजन किया था इस समिट में 125 राष्ट्र भागीदार बने थे सबका साथ सबका विकास और दुनिया में सभी के विकास में भागीदारी सुनिश्चित हो, इसके लिए ये बैठक की गई यह हिंदुस्तान की अध्यक्षता के अनुसार की गई सबसे जरूरी पहलों में से एक रही थे ये पीएम मोदी के कुशल नेतृत्व और दूरगामी सोच का नतीजा था

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