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RJ Lok Sabha Chunav: प्रथम चरण के मतदान के लिए आज शाम से थम जाएगा प्रचार

मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता ने कहा कि राजस्थान में लोकसभा आम चुनाव-2024 के प्रथम चरण में मतदान के आखिरी 48 घंटे के लिए चुनाव प्रचार गतिविधियां बुधवार शाम 6 बजे से थम जाएंगी. पहले चरण में गंगानगर, बीकानेर, चूरू, झुंझूनूं, सीकर, जयपुर ग्रामीण, जयपुर, अलवर, भरतपुर, करौली-धौलपुर, दौसा और नागौर लोकसभा निर्वाचन क्षेत्रों में 19 अप्रैल को मतदान होगा.

गुप्ता ने कहा कि लोक अगुवाई अधिनियम, 1951 की धारा 126  के मुताबिक इन लोकसभा क्षेत्रों में मतदान की समापन के लिए नियत समय से 48 घंटों की अवधि 17 अप्रैल को सायं 6 बजे से शुरुआत होकर मतदान समापन अवधि 19 अप्रैल को सायं 6 बजे तक कारगर रहेगी.

मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने कहा कि इस अवधि के दौरान अंतरराज्यीय सीमाएं भी सील रहेंगी. साथ ही इन क्षेत्रों में शराब की बिक्री पर प्रतिबंध के साथ सूखा दिवस रहेगा. राजस्थान में ओपिनियन पोल या अन्य पोल सर्वे के प्रसारण पर प्रतिबंध रहेगा. साथ ही, एग्जिट पोल के परिणामों को समाचार पत्रों में प्रकाशित या इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के माध्यम से प्रसारित करना अथवा अन्य किसी ढंग से प्रचार-प्रसार करने पर भी पूर्णतया प्रतिबंध रहेगा. एग्जिट पोल पर यह प्रतिबन्ध लोकसभा चुनाव के 7वें चरण के मतदान दिवस 1 जून को शाम 6:30 बजे तक जारी रहेगा.

इन 48 घंटों की कालावधि के दौरान

    • निर्वाचन के संबंध में कोई सार्वजनिक सभा या जुलूस न बुलाएगा, न आयोजित करेगा, न उसमें मौजूद होगा, न उसमें सम्मिलित होगा और न उसे संबोधित करेगा.
    • प्रथम चरण के चुनाव से सम्बंधित सिनेमा, चलचित्र, टेलीविजन या वैसे ही अन्य साधनों द्वारा जनता के समक्ष किसी निर्वाचन संबंधी बात का प्रदर्शन नहीं करेगा.
    • कोई संगीत कार्यक्रम या कोई नाट्य एक्टिंग या कोई अन्य मनोरंजन या आमोद-प्रमोद जनता के सदस्यों को उसके प्रति आकर्षित करने की दृष्टि से, आयोजित करके या उसके आयोजन की प्रबंध करके, जनता के समक्ष किसी निर्वाचन संबंधी बात का प्रचार नहीं करेगा. कोई आदमी यदि इन उपबंधों का उल्लंघन करता है, तो दो साल तक जेल या जुर्माना या दोनों सजा होगी.

  • कोई भी सियासी आदमी जो उस निर्वाचन क्षेत्र का मतदाता या अभ्यर्थी नहीं है अथवा सांसद या विधायक नहीं है, वह उस निर्वाचन क्षेत्र में चुनाव प्रचार खत्म होने के पश्चात नहीं ठहर सकता.
  • राज्य की सुरक्षा कवच प्राप्त सियासी आदमी (अभ्यर्थी से भिन्न) यदि निर्वाचन क्षेत्र में मतदाता है, तो वह अपने मताधिकार का इस्तेमाल करने के बाद क्षेत्र में आवाजाही नहीं करेगा.
  • निर्वाचन मशीनरी और पुलिस प्रशासन सुनिश्चित करेंगे कि सामुदायिक केंद्रों, धर्मशालाओं, गेस्ट हाऊस, लॉज, होटलों आदि में ठहरे हुए बाहरी व्यक्तियों की जानकारी और सत्यापन किया जाए तथा बाहर से आने वाले वाहनों पर भी नज़र रखी जाए.

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