लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा की पहली लिस्ट में बलिया से अभी किसी को नहीं मिला टिकट
लोकसभा चुनाव के लिए बीजेपी की पहली लिस्ट में बलिया से अभी किसी को टिकट नहीं दिया गया है। यहां पर बीजेपी के वीरेंद्र सिंह मस्त अभी सांसद हैं। बीजेपी की दूसरी सूची आने में एक दो दिन का समय है। इससे पहले बुधवार को वीरेंद्र सिंह का टिकट कटने की चर्चा अचानक तेज हो गई। इस चर्चा के पीछे असल कारण बीजेपी में दोबारा शामिल हुए बैरिया के पूर्व विधायक सुरेंद्र सिंह हैं। सुरेंद्र सिंह ने सांसद वीरेंद्र सिंह के विरुद्ध मोर्चा खोला हुआ है।
चार दिन पहले ही सुरेंद्र सिंह ने खुलेआम घोषणा किया कि यदि बीजेपी ने वीरेंद्र सिंह मस्त को दोबारा टिकट दिया तो वह स्वयं उन्हें हराने के लिए मैदान में उतर जाएंगे। सुरेंद्र सिंह इससे पहले विधानसभा चुनाव में बीजेपी प्रत्याशी के विरुद्ध मैदान में उतरकर उसे हरा चुके हैं। सुरेंद्र सिंह की गिनती फायरब्रांड नेताओं में होती है। अपने बयानों को लेकर सुरेंद्र सिंह चर्चाओं में बने रहते हैं।
सुरेंद्र सिंह 2017 में बलिया की बैरिया सीट से बीजेपी के विधायक चुने गए थे। 2022 में उनकी स्थान योगी गवर्नमेंट में मंत्री आनंद स्वरूप शुक्ल को टिकट दिया गया तो सुरेंद्र सिंह ने बगावत कर दी। बीजेपी से त्याग-पत्र देकर बिहार के मंत्री सहनी की पार्टी वीआईपी से टिकट लेकर आनंद स्वरूप के विरुद्ध ही ताल ठोंक दिया। इसका असर यह हुआ कि बीजेपी प्रत्याशी आनंद स्वरूप 12 हजार वोटों से हार गए। सुरेंद्र सिंह भले स्वयं नहीं जीते लेकिन 28 हजार से अधिक वोट हासिल कर बीजेपी प्रत्याशी की हार की कहानी लिख दी।
अब सुरेंद्र सिंह ने बीजेपी सांसद वीरेंद्र सिंह के विरुद्ध मोर्चा खोला हुआ है। चार दिन पहले घोषणा किया कि यदि बीजेपी ने वीरेंद्र सिंह मस्त को दोबारा टिकट दिया तो उनके विरुद्ध स्वयं चुनावी मैदान में आएंगे और उन्हें जीतने नहीं देंगे। इसी बीच बुधवार को सुरेंद्र सिंह को बीजेपी में दोबारा शामिल कर लिया गया। लखनऊ में बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी और डिप्टी मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने सुरेंद्र सिंह को बीजेपी की सदस्यता दिलाई। बीजेपी सांसद के विरुद्ध मोर्चा खोलने वाले को ठीक चुनाव से पहले पार्टी में सदस्यता को वीरेंद्र सिंह मस्त के टिकट से जोड़ा जा रहा है।
सुरेंद्र सिंह ने क्या कहा
सुरेंद्र सिंह का बोलना है कि यदि यहां से मौजूदा भाजपा सांसद वीरेंद्र मस्त को फिर टिकट मिला तो वो इसका खुलकर विरोध करेंगे। यदि जरुरत पड़ी तो उनके विरुद्ध चुनाव भी लड़ सकते हैं। बलिया के बैरिया सीट से विधायक रहे सुरेंद्र सिंह ने रविवार को हजारों कार्यकर्ताओं के साथ एक बैठक की और उसके बाद यह घोषणा किया। बोला कि सभी कार्यकर्ताओं का उन्हें समर्थन मिला हुआ है।
सुरेंद्र सिंह ने बोला कि मैं इस क्षेत्र के महान कार्यकर्ताओं का नेता हूं, जिन्हें न किसी हालात में कोई डरा सका न दबा सका है। उन्होंने बोला कि कार्यकर्ताओं ने बैठक में सर्वसम्मति से बोला है कि आप जो भी फैसला लेंगे हम उसके साथ हैं। इस बैठक में हमने ये पास करा लिया है कि यदि वर्तमान सांसद को भाजपा टिकट देती है तो मैं खुला उपद्रव करुंगा। हो सकता है कि मैं इनके खिलाफ चुनाव भी लड़ जाऊं। मैं प्रयास करूंगा कि ये दोबारा सांसद न बन सकें।
बीजेपी में दोबारा आने से पहले बोला कि जनता का दिल ही मेरी पार्टी है। बीजेपी, चरित्र और संघ संस्कारों के चलते मेरे रोम-रोम में है। लेकिन, गंदे लोगों की वजह से हमें दुखी होकर विरोध करना पड़ा और आगे भी करना पड़ेगा। उन्होंने बोला कि राजनीति मेरा पेशा नहीं है, राजनीति मेरा सेवा संस्कार है। जब विधायक था तब भी यहीं किया और नहीं हूं तो भी यही करूंगा। बोला कि शीर्ष नेतृत्व ने यदि फिर से वीरेंद्र को टिकट देने का मन बनाया तो मैं अपना क्षमता का प्रयोग करूंगा और जनता से आग्रह करूंगा कि यदि मेरी सेवा के लिए कोई रेट हो तो ऐसे लोगों को संसद में जाने से रोका जाए।
ओपी राजभर भी बढ़ा रहे वीरेंद्र सिंह मस्त की टेंशन
बलिया से बीजेपी सांसद वीरेंद्र सिंह मस्त की मुश्किलें सिर्फ़ पूर्व बीजेपी विधायक सुरेंद्र सिंह नहीं बढ़ा रहे हैं। सुभासपा प्रमुख और योगी कैबिनेट में कल ही मंत्री बने ओपी राजभर भी उनकी मुसीबत बने हुए हैं। ओपी राजभर ने घोसी के साथ ही बलिया की सीट पर अपनी दावेदारी कर रखी है। बोला जा रहा है कि ओपी राजभर को इस बारे में आश्वासन भी दिया गया है। वीरेंद्र सिंह मस्त 2014 में भदोही से सांसद चुने गए थे। 2019 में उन्हें बलिया के तत्कालीन सांसद भरत सिंह की स्थान मैदान में उतारा गया और उन्होंने जीत भी हासिल की।