विदेश मंत्री का एक फोन और ईरान ने दी बंधकों को ये छूट
Israel and Iran: इजरायल और ईरान के बीच तनाव जारी है, इस बीच हिंदुस्तान को लेकर एक अच्छी समाचार आई है। पहली बार ईरान ने जो जहाज पकड़ी थी, उस पर सवार 17 भारतीय नाविकों में से एक को अपने भाई से बात करने की अनुमति मिली। यह अनुमति तब मिली जब सोमवार को भारतीय दूतावास ने इस मुद्दे को लेकर ईरान से बात की थी।
नाविकों में से एक के भाई माइकल ने द भारतीय एक्सप्रेस को इस बात की पुष्टि की हमारी वार्ता हुई है। उनका बोलना था “उन्होंने कल (सोमवार) शाम लगभग 30 मिनट तक बात की।
फोन चलाने की नहीं है अनुमति
ईरान ने जितने जहाज सवारों को पकड़ा है, उन्हें टेलीफोन चलाने की अनुमति नहीं थी। लेकिन जब हिंदुस्तान के विदेश मंत्री का टेलीफोन ईरान गया तो वहां के ऑफिसरों ने एक सदस्य से परिवार की बात कराई। कहा यह भी जा रहा है कि भारतीय अधिकारियों द्वारा जहाज की सुरक्षा कर रहे ईरानी ऑफिसरों से अनुरोध किया जा सकता है कि क्रू को प्रत्येक दिन एक घंटे के लिए टेलीफोन और लैपटॉप का इस्तेमाल करने की अनुमति दे दें।
ईरान भारतीय को नहीं करेगा परेशान
माइकल के भाई ने परिवार से वार्ता में कहा कि ईरानी ऑफिसरों ने कहा है कि जो लोग पकड़े गए हैं, उन्हें किसी तरह का कोई तकलीफ नहीं दी जाएगी। उनके पास रहने खाने और जीने के पर्याप्त संसाधन जहाज में हैं। जहाज बंदर अब्बास बंदरगाह के तट पर लंगर डाले हुए है। उन्होंने बोला कि वे हमेशा की तरह बोर्ड पर परिचालन कर्तव्यों का पालन कर रहे हैं। बस जहाज को ईरान के ऑफिसरों ने पकड़ रखा है।
ईरानी विदेश मंत्री ने हिंदुस्तान की मानी मांग
ईरानी विदेश मंत्री हुसैन अमीर अब्दुल्लाहियान ने घोषणा किया है कि तेहरान जल्द ही हिंदुस्तान के ऑफिसरों को उसके 17 लोगों से मुलाकात करने की अनुमति देगा। ईरान की नौसेना ने हाल ही में इस्राइल के अरबपति इयाल ओफर का मालवाहक जहाज अपने कब्जे में ले लिया था। इस जहाज पर 17 भारतीय भी सवार थे। इन लोगों की सुरक्षित वापसी के लिए कल भारतीय विदेश मंत्री ने ईरान के विदेश मंत्री से वार्ता की थी।
ईरान ने जहाज को पकड़ा
जहाज पर कब्ज़ा इज़राइल और ईरान के बीच तनाव के बीच हुआ है, जो 1 अप्रैल को दमिश्क में ईरानी दूतावास पर इज़राइली हवाई हमले के बाद बढ़ गया था, जिसमें इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड कॉर्प्स के वरिष्ठ ऑफिसरों सहित 16 लोग मारे गए थे।
यह है मामला
ईरान की नौसेना ने होर्मुज जलडमरूमध्य के पास ओमान की खाड़ी में हिंदुस्तान की ओर आ रहे इस्राइली अरबपति के इस जहाज को अपने कब्जे में ले लिया था। इस जहाज पर 17 भारतीय सवार थे। सबसे पहले हेलीकॉप्टर से इस्राइली जहाज पर धावा किया गया था और इसके बाद ईरान की नौसेना ने इस पर कब्जा कर लिया था। इस जहाज का नाम एमएससी एरीज है और उसे अंतिम बार शुक्रवार को दुबई से होर्मुज की ओर जाते हुए देखा गया था। कहा गया है कि जहाज ने अपना ट्रैकिंग डाटा बंद किया हुआ था। इस्राइल के जहाजों द्वारा इस क्षेत्र से गुजरते समय अक्सर ट्रैकिंग डाटा बंद कर दिया जाता है।
तेहरान से जयशंकर की बात
विदेश मंत्री डाक्टर एस। जयशंकर ने रविवार रात ईरान के विदेश मंत्री एच। अमीराब्दोल्लाहियन और इस्राइल के विदेश मंत्री इस्राइल काट्ज से टेलीफोन पर बात की थी। रविवार शाम हुई वार्ता में ईरान-इस्राइल संघर्ष की वजह से बने हालात पर चर्चा की गई थी। इस दौरान ईरान द्वारा कब्जे में लिए गए जहाज पर उपस्थित 17 हिंदुस्तानियों की सुरक्षित वापसी पर भी चर्चा बात हुई थी। इसके साथ ही तेहरान से सहायता का निवेदन किया था।