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PM Modi Interview: इलेक्टोरल बॉन्ड को लेकर लग रहे आरोंपों पर पीएम मोदी ने कहा…

PM Narendra Modi Interview: लोकसभा चुनाव को लेकर पहले चरण के मतदान से पहले पीएम मोदी ने एएनआई को साक्षात्कार दिया है. साक्षात्कार में पीएम ने कई मुद्दों पर खुलकर वार्ता की है. उन्होंने बोला कि किसी भी क्षेत्र में तुलना कीजिए, हमारे कोशिश में कमी नहीं रही होगी. हमने दो वर्ष तक कोविड से लड़ाई लड़ी, फिर भी चाहे गति कहिए, स्केल कहिए, सर्वांगीण विकास कहिए हर पैमाने पर हम खरे उतरे.  प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने साक्षात्कार में विपक्षी दलों पर चुनावी बॉन्ड योजना पर असत्य फैलाने का इल्जाम लगाया. उन्होंने बोला कि चुनावी बॉन्ड योजना का उद्देश्य चुनावों में काले धन पर रोक लगाना था.

सभी ने की थी तारीफ 

इंटरव्यू में इलेक्टोरल बॉन्ड को लेकर लग रहे आरोंपों पर प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने बोला कि राष्ट्र में काले धन का मामला लंबे समय से चल रहा है. सब पार्टियां इस पर बात करती हैं, पार्टियों के लिए पैसे लोगों से लेने पड़ते हैं, ऐसे में मेरे मन में विचार आया कि कैसे ऐसा काम किया जाए, जिससे काले धन से मुक्ति मिले. जब इलेक्टोरल बॉन्ड आया था तो सभी ने प्रशंसा की थी, अब ऐसा कर रहे हैं.

समस्याओं से मुक्ति के लिए इलेक्टोरल बॉन्ड लाया गया

पीएम मोदी ने साक्षात्कार में कहा, पहले हमने हजार दो हजार के नोट समाप्त किए, क्योंकि हमें ब्लैक मनी समाप्त करना था. इसलिए, हमने पहले 20 हजार रुपये नकद की सीमा को ढाई हजार किया. अब आया चेक से पैसे लेने का सवाल, तो व्यापारियों ने बोला कि भाई यदि हम ऐसे विपक्ष को पैसे देंगे तो गवर्नमेंट को पता चल जाएगा. यह भाजपा ने स्वयं झेला भी है, क्योंकि हमारा नियम था हम चेक से पैसे लेते थे. इन सब समस्याओं से मुक्ति के लिए इलेक्टोरल बॉन्ड लाया गया था, ताकि मनी ट्रेल का पता चल सके. मेरी चिंता यह है कि मैं कभी नहीं कहता कि फैसला लेने में कोई कमी नहीं है. फैसला लेने में, हम सीखते हैं और सुधार करते हैं. इसमें भी सुधार के लिए बहुत संभवना है. लेकिन आज हमने राष्ट्र को पूरी तरह से ब्लैक मनी की ओर धकेल दिया है इसीलिए मैं कहता हूं कि हर किसी को इसका पछतावा होगा.

‘हार के बहाने ढूंढते हैं’ 

केंद्रीय एजेंसियों पर गवर्नमेंट के नियंत्रण पर पीएम नरेंद्र मोदी ने बोला कि  प्रवर्तन निदेशालय और CBI का एक भी कानून हमारी गवर्नमेंट ने नहीं बनाया. हमने तो चुनाव आयोग में भी सुधार किया. पहले तो पीएम एक फाइल पर साइन कर देते थे और चुनाव आयेाग बन जाता था, अब हम विपक्ष के भी एक नेता को रखते हैं. उनके समय तो ऐसे चुनाव आयुक्त होते थे जो उनकी पार्टी से राज्यसभा सदस्य तक बने. यह हार के बहाने ढूंढते हैं, कभी ईवीएम की बात करेंगे भी चुनाव आयेाग की.

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